“अल- मुन्तज़र ” के बानी, मौलाना नईम अब्बास साहब रुख़सत,ख़िदमात और इमाम-ए-ज़माना (अ.ज.) के ज़हूर की तैयारियों का पैग़ाम और उनके इतंजार के सबक को याद करेगा हिंदुस्तान,मज़हबी, इल्मी और समाजी हल्क़ों में ग़म का माहौल
तहलका टुडे टीम/सैयद तकी हसनैन रिजवी लखनऊ : हिंदुस्तान की इस्लामी और…