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🛑 Exclusive रिपोर्ट | तहलका टुडे“तेहरान पर हमला या इंसानियत पर हमला? अमेरिका-इज़राइल की ज़ुल्म-गाथा दुनिया देख रही है!”🌍 जब ज़ुल्म को समर्थन और सच्चाई को सज़ा दी जाए — तब चुप्पी भी गुनाह बन जाती है।💣 तेहरान पर मिसाइल अटैक — 2025 की सबसे खतरनाक घटना🇮🇷 ईरान बनाम इज़राइल: कौन है असली खतरा?🧠 मीडिया का अपराध — एकतरफा नैरेटिव की मशीनरी🔥 जब न्याय सिर्फ कागज़ों पर रह जाए…ट्रंप और नेतन्याहू की जोड़ी अब 21वीं सदी की सबसे खतरनाक जोड़ी बन गई है:🕊️ ईरान: एक मजलूम राष्ट्र, जो हर हमले के बावजूद खड़ा है — सिर ऊँचा करके।🔍 क्या अंतरराष्ट्रीय संस्थाएं अब भी मौन रहेंगी?📢 अब फैसला दुनिया को करना है:📣 #SpecialHashtags For Viral Impact:

🛑 Exclusive रिपोर्ट | तहलका टुडे

“तेहरान पर हमला या इंसानियत पर हमला? अमेरिका-इज़राइल की ज़ुल्म-गाथा दुनिया देख रही है!”

📅 विशेष रिपोर्ट | 17 जून 2025 | रिपोर्टर: सैयद रिज़वान मुस्तफा


🌍 जब ज़ुल्म को समर्थन और सच्चाई को सज़ा दी जाए — तब चुप्पी भी गुनाह बन जाती है।

16 जून की रात, जब पूरी दुनिया सो रही थी — तेहरान जाग रहा था।
क्योंकि उस पर मिसाइलें गिर रही थीं।

🔺 हमले का आरोप किस पर?
👉 ईरान पर — जिसने आज तक किसी देश पर पहला हमला नहीं किया।

🔺 हमले की ज़िम्मेदारी किसकी?
👉 इज़राइल पर — जिसने पश्चिमी समर्थन के साथ फिर एक बार मध्य पूर्व की आग को हवा दी।


💣 तेहरान पर मिसाइल अटैक — 2025 की सबसे खतरनाक घटना

▶️ 220+ आम नागरिक घायल
▶️ सरकारी और प्रेस कार्यालय ध्वस्त
▶️ हमले के पीछे अमेरिकी इंटेलिजेंस और इज़राइली टैक्टिक्स

📌 ट्रंप का ज़हरीला बयान: “तेहरान खाली करो।”
👉 यह कोई चेतावनी नहीं, यह नस्लीय सफ़ाया (Ethnic Cleansing) का एलान था।


🇮🇷 ईरान बनाम इज़राइल: कौन है असली खतरा?

बिंदु ईरान इज़राइल
परमाणु हथियार ❌ नहीं हैं ✅ 80–200 (अनुमान)
NPT सदस्यता ✅ हाँ ❌ नहीं
IAEA निरीक्षण ✅ पूरा सहयोग ❌ सिरे से इनकार
हमलावर इतिहास ❌ कभी पहला हमला नहीं ✅ पहल करने वाला
अंतरराष्ट्रीय छवि ❌ “खतरा” बताया गया ✅ “लोकतंत्र” प्रचारित

🧠 मीडिया का अपराध — एकतरफा नैरेटिव की मशीनरी

📺 BBC, CNN, Fox News जैसे चैनलों ने इस जघन्य हमले को “Defensive Strike” बताया
क्या महिलाओं, बच्चों और प्रेस दफ्तरों पर हमला ‘डिफेंस’ है?
❗ जब ग़ाज़ा पर 30,000+ लोगों की हत्या हुई — तब भी यही शब्द इस्तेमाल हुआ था।


🔥 जब न्याय सिर्फ कागज़ों पर रह जाए…

ट्रंप और नेतन्याहू की जोड़ी अब 21वीं सदी की सबसे खतरनाक जोड़ी बन गई है:

  • इन्होंने प्रेस को आतंकवादी घोषित किया
  • इन्होंने स्कूलों को बमबारी से उड़ाया
  • इन्होंने परमाणु नीति को मज़ाक बना दिया
  • इन्होंने अंतरराष्ट्रीय क़ानूनों को रौंद दिया

🕊️ ईरान: एक मजलूम राष्ट्र, जो हर हमले के बावजूद खड़ा है — सिर ऊँचा करके।

👉 उसने दुनिया को बार-बार बताया:
“हम हमला नहीं करते, मगर अपनी हिफ़ाज़त करना जानते हैं!”

ईरान ने युद्ध नहीं मांगा, लेकिन अपनी सरज़मीन को बमों से नहीं, गैरत से सींचा।


🔍 क्या अंतरराष्ट्रीय संस्थाएं अब भी मौन रहेंगी?

🔹 संयुक्त राष्ट्र चुप क्यों है?
🔹 NATO का नैतिक रडार क्यों बंद हो गया?
🔹 मानवाधिकार संगठन क्या सिर्फ एक खानापूर्ति हैं?

अगर यही हमला न्यूयॉर्क या पेरिस पर होता, तो क्या दुनिया की प्रतिक्रिया यही रहती?


📢 अब फैसला दुनिया को करना है:

🛑 क्या नियम सिर्फ ईरान, फ़िलिस्तीन और मजलूमों के लिए हैं?

🛑 क्या जिनके पास ताक़त है, उन्हें इंसानियत कुचलने की खुली छूट मिलनी चाहिए?

🛑 क्या हम फिर वही इतिहास दोहराना चाहते हैं, जहां ज़ालिम की तस्वीर दीवारों पर और मजलूम की लाश गलियों में मिलती है?


📣 #SpecialHashtags For Viral Impact:

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📌 Editor’s Note:

“ईरान की ख़ामोशी को उसकी कमजोरी मत समझो — वो तहज़ीब वाला मुल्क है, मगर जब ज़ालिम हदें पार करता है, तो कर्बला दोहराई जाती है।”


📲 तहलका टुडे डिजिटल पोर्टल
✍️ रिपोर्ट: सैयद रिज़वान मुस्तफा
📍 1/1 नबीउल्लाह रोड, लखनऊ
📞 9452000001
📧 tahalkatodayindia@gmail.com


 

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