तहलका टुडे टीम
लखनऊ, उत्तर प्रदेश में वक्फ संपत्तियों को सुरक्षित और पारदर्शी बनाने की दिशा में ऐतिहासिक पहल की जा रही है। केंद्र सरकार के आदेशों के अनुपालन में प्रदेश भर की वक्फ संपत्तियों का डिजिटलीकरण कर उन्हें UMEED पोर्टल पर दर्ज किया जाएगा। इसी उद्देश्य से राज्य स्तर पर व्यापक प्रशिक्षण अभियान की घोषणा की गई है।
अपर सर्वे कमिश्नर वक्फ, उत्तर प्रदेश अंकित कुमार अग्रवाल द्वारा जारी आदेश (दिनांक 23 मई 2025 व 16 सितंबर 2025) में कहा गया है कि वक्फ अधिकारियों, कर्मचारियों व तकनीकी सहायकों को पोर्टल पर संपत्तियों की प्रविष्टि, दस्तावेज़ अपलोड और डेटा अपडेट करने का विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा।
कहां और कब होगा प्रशिक्षण?
आदेशों के अनुसार 18 सितंबर 2025 को एक ही दिन पांच मण्डलों में प्रशिक्षण आयोजित होगा।
क्रमांक | प्रशिक्षण हेतु चयनित मण्डल | शामिल जिले/जनपद | प्रशिक्षण तिथि |
---|---|---|---|
1 | लखनऊ | लखनऊ, अयोध्या, देवीपाटन, बस्ती, गोरखपुर | 18.09.2025 |
2 | कानपुर | कानपुर, झांसी, चित्रकूट | 18.09.2025 |
3 | प्रयागराज | प्रयागराज, मिर्जापुर, वाराणसी, आज़मगढ़ | 18.09.2025 |
4 | आगरा | आगरा, अलीगढ़, बरेली | 18.09.2025 |
5 | गाज़ियाबाद | मेरठ, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर | 18.09.2025 |
प्रशिक्षण का संचालन वही मास्टर ट्रेनर करेंगे, जिन्होंने मई माह में दिल्ली में आयोजित केंद्रीय प्रशिक्षण में भाग लिया था।
किसे शामिल होना अनिवार्य?
- मंडल और जिला स्तर के वक्फ अधिकारी
- सहायक अधिकारी और निरीक्षक
- वक्फ बोर्ड के कंप्यूटर ऑपरेटर व तकनीकी सहायक
- वक्फ संपत्तियों के देखभाल और प्रबंधन से जुड़े कर्मचारी
आदेश के प्रमुख बिंदु
- सभी अधिकारियों व कर्मचारियों की उपस्थिति अनिवार्य।
- प्रशिक्षण के बाद तत्काल प्रभाव से वक्फ संपत्तियों का डिजिटलीकरण शुरू करना।
- किसी भी प्रकार की लापरवाही पर जिम्मेदारी तय की जाएगी।
- कंप्यूटर ऑपरेटर और तकनीकी संसाधनों की व्यवस्था हर प्रशिक्षण केंद्र पर सुनिश्चित।
महत्व और असर
इस प्रक्रिया से वक्फ संपत्तियों का सही और अद्यतन रिकॉर्ड तैयार होगा। डिजिटलीकरण से—
- अतिक्रमण और गड़बड़ी की रोकथाम होगी।
- वक्फ संपत्तियों का वास्तविक मालिकाना हक और उपयोग सामने आएगा।
- न्यायालयीन विवादों में वक्फ बोर्ड के पास ठोस साक्ष्य उपलब्ध रहेंगे।
- पारदर्शिता और प्रशासनिक नियंत्रण मजबूत होगा।
सैयद रिज़वान मुस्तफा का बयान
इस पूरे अभियान को मजबूत समर्थन देते हुए सेव वक्फ इंडिया मिशन के वाइस प्रेसिडेंट सैयद रिज़वान मुस्तफा ने कहा:
“डिजिटल पंजीकरण में सभी औकाफ़ के मुतवल्ली और सदस्य ज़रूर शिरकत करें। सारे काम छोड़कर इस प्रशिक्षण में भाग लें। आपकी लापरवाही अल्लाह के नाम निहित औकाफ़ की जमीनों को खत्म कर सकती है। इस पर तवज्जो ज़रूर दें। कोई दिक्कत हो तो ट्रेनर से बात करें और हर काम लिखापढ़ी में करें। लापरवाही बिल्कुल न बरतें।”
18 सितंबर 2025 को होने वाला यह प्रशिक्षण प्रदेश के वक्फ प्रबंधन के लिए एक ऐतिहासिक मोड़ साबित हो सकता है। यह सिर्फ एक प्रशासनिक कवायद नहीं, बल्कि औकाफ़ की सुरक्षा और उनके सही उपयोग की गारंटी है। अब यह जिम्मेदारी मुतवल्लियों, अधिकारियों और कर्मचारियों की है कि वे इसे गंभीरता से लें और अपने कर्तव्य का पूर्ण निर्वाह करें।
👉 यह खबर आधिकारिक आदेश संख्या 1991/40310-19(109)/2025 दिनांक 23.05.2025 और आदेश संख्या 40310-19(109)/2025 दिनांक 16.09.2025 पर आधारित है। दोनों आदेश अपर सर्वे कमिश्नर वक्फ, उत्तर प्रदेश अंकित कुमार अग्रवाल के डिजिटल हस्ताक्षर सहित जारी किए गए हैं।
https://us05web.zoom.us/j/6788425513?pwd=Wh8ZvuPQ2ig2uNeVL0O7wLuMZFD8jL.1&omn=89839985912
✦ ब्रेकिंग हेडलाइन
👉 यूपी में वक्फ संपत्तियों का डिजिटल पंजीकरण शुरू, 18 सितंबर को पांच मण्डलों में प्रशिक्षण
लखनऊ। प्रदेश सरकार ने वक्फ संपत्तियों को UMEED पोर्टल पर दर्ज करने के लिए 18 सितंबर को लखनऊ, कानपुर, प्रयागराज, आगरा और गाजियाबाद मण्डलों में प्रशिक्षण तय किया है। सभी वक्फ अधिकारी, कर्मचारी और मुतवल्ली अनिवार्य रूप से शामिल होंगे।
सेव वक्फ इंडिया मिशन के वाइस प्रेसिडेंट सैयद रिज़वान मुस्तफा ने अपील की—
“सारे काम छोड़कर प्रशिक्षण में ज़रूर भाग लें। लापरवाही अल्लाह के नाम निहित औकाफ़ की जमीनों को खत्म कर सकती है। हर काम लिखापढ़ी में करें और किसी भी परेशानी पर ट्रेनर से संपर्क करें।”
https://us05web.zoom.us/j/6788425513?pwd=Wh8ZvuPQ2ig2uNeVL0O7wLuMZFD8jL.1&omn=89839985912